दिल्ली में कोई भी जीते, सरकार बदलना तय है! पड़ गये न अचरज में! आइये समझते हैं!

देश राजधानी दिल्ली में चुनावी बिसात बिछ चुकी है और एक दूसरे को मात देने का प्रयास जोर-शोर से जारी भी है। सत्ताधारी आप फिर से राजधानी की सत्ता की होड़ में लगी हुई है। भाजपा 27 वर्षों के बाद फिर से दिल्ली की सत्ता पर काबिज होना चाह रही है। दिल्ली में अपनी साख खो चुकी कांग्रेस सिर्फ अपनी प्रतिष्ठा ही नहीं बचाना चाह रही, बल्कि दिल्ली की सत्ता भी चाह रही है। इसी कारण से वह एक के बाद एक लोकलुभावन चुनावी वायदे भी जनता से कर रही है। मगर एक बात, जो सबसे दिलचस्प है, वह यह कि चाहे कोई भी पार्टी, चाहे आप, चाहे भाजपा या चाहे कांग्रेस दिल्ली में जीतें, लेकिन दिल्ली में सत्ता बदलना तय है। तो आइये समझते हैं कैसे!

भाजपा जीती तो सत्ता बदलना तय

पूरे देश में अपना झंडा गाड़ने वाली दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी भाजपा दिल्ली में 27 वर्षों से सत्ता से बाहर है। इस बार वह विशेष रणनीति के तहत और हाल में हरियाणा और महाराष्ट्र में प्रचंड जीत से सत्ता में आने वाली भाजपा दिल्ली में उसी दमखम के साथ चुनावी रण में उतरी है। हालांकि इसने अपना कोई मुख्यमंत्री चेहरा सामने नहीं किया है, फिर भी भाजपा दिल्ली चुनाव जीतती है तो यह बात साधारण रूप से भी समझा जा सकता है आप की छुट्टी हो जायेगी और सत्ता बदल जायेगी।

कांग्रेस की जीत भी बदलेगी सत्ता

दिल्ली में शीला दीक्षित के समय कांग्रेस ही यहां सत्ता में भी थी। उसके बाद केजरीवाल की आप ने कांग्रेस को सत्ता से बेदखल कर वहां ऐसा पांव जमाया कि कांग्रेस को सीटें जीतने के भी लाले पड़ गये। पिछले दो विधानसभा चुनाव में कांग्रेस एक भी सीट नहीं जीत पायी है। अगर यह मान भी लिया जाये कि कांग्रेस अपनी घोषणाओं के बल पर जनता को लुभाने में सफल होती है और जीत हासिल कर लेती है, तब यहां कांग्रेस की सरकार बन जायेगी यानी सत्ता परिवर्तन भी हो जायेगा।

आप जीती तब भी सत्ता परिवर्तन तय है

अब बात करते हैं, आप की। दिल्ली में आप जीतती है, तब भी सत्ता का बदलना तय है। इसे इस तरह से समझना होगा। आपको याद होगा, पिछले साल सितंबर में जेल से बाहर आने के बाद अरविंद केजरीवाल ने सीएम पद छोड़ दिया था और ऐलान किया था कि जब तक जनता उन्हें ईमानदारी का प्रमाण-पत्र नहीं दे देती तब तक वह सीएम की कुर्सी पर नहीं बैठेंगे। इसके बाद दिल्ली में आतिशी को मुख्यमंत्री बनाया गया था। फिलहाल दिल्ली में आतिशी सरकार ही चल रही है। अब अगर आम आदमी पार्टी ही फिर से चुनाव जीतती है, जिसकी सम्भावना कुछ ज्यादा है, तब अरविंद केजरीवाल ‘जनता का ईमानदारी का सर्टिफिकेट’ लेकर दिल्ली की कुर्सी सम्भाल लेंगे। आतिशी की जगह केजरीवाल सीएम बनेंगे और दिल्ली की वर्तमान सरकार भी तो बदलेगी?

न्यूज डेस्क/ समाचार प्लस – झारखंड-बिहार

यह भी पढ़ें: महाकुंभ में ‘कलाग्राम’ भारत की सांस्कृतिक विविधता और विरासत को प्रदर्शित करेगा