छपराः बिहार के सारण जिले में पुल गिरने की घटनाएं रुकने का नाम नहीं ले रही हैं। दो दिनों में तीन पुल टूट गए हैं, जिससे लोगों को आने-जाने में भारी परेशानी हो रही है। लगातार हो रही बारिश और पुलों की खराब हालत को इसकी वजह माना जा रहा है।
पहला पुल कल
20 वर्ष पूर्व बने गंडकी नदी पर बने पुल के धराशाही होने से धोढ़स्थान शिव मंदिर के साथ साथ दर्जनों गावों के आने जाने का संपर्क टूटा
स्थानीय प्रखंड सहित कई अन्य पंचायतों के ग्रामीणों को आने के लिए छः किलोमीटर दूर की करनी होगी सफर। बनियापुर के पूर्व विधायक धूमल सिंह के फंड से 2004 में लगभग डेढ़ करोड़ की लागत से बना था।
दूसरा पुल कल ही
सारण के ही लहलादपुर प्रखंड के सारण गाँव में पटेढ़ा और देवरिया गांव को जोड़ने वाला लगभग 40 वर्ष पुराना गंडक नदी पर बना पुल भी धारासाई हो गया। ये पुल 1984 में लगभग पौने दो करोड़ की लागत से बना था इसके भी टूटने से कई गावों का संपर्क टूट गया है।
तीसरा पुल आज टूटा
सारण के बनियापुर प्रखंड के सरेया पंचायत में एक और पुल टूटा
आपको बता दें की जहाँ बिहार में एक के बाद एक पुल टूट रहे है वही सारण में कल और आज मिलाकर तीन पुल टूटे आज सुबह सारण के ही बनियापुर प्रखंड के सरेया पंचायत में गंडक नदी पर बने कई गावों को जोड़ने वाला पुल के टूटने का वीडियो मिला। ये पुल 2019 में मुखिया के फंड से लगभग 25 लाख की लागत से बना था।
मिली जानकारी के अनुसार सरकार द्वारा कुछ महीनों पहले जे सी बी से सूखे नदियों में लगे घास की सफाई कराई गई थीं जिसमे जे सी बी द्वारा पुल के पाये के पास के घास के साथ साथ मिट्टी की भी कटाई कर दी गई जिसके बाद जब बारिस होने पर नदियों में पानी भर आया और पानी का तेज बाहव होने लगा तो पाये के नीचे से मिट्टी काटना सुरु कर दिया जिस कारण एक के बाद एक पुलों के गिरने का सिलसिला सुरु हो गया.
अभी आगे देखना है और कितने पुल गिरते है और इसको लेकर सरकार की नींद कब खुलती है। तबतक कई गावों का संपर्क एक दूसरे गावों से टूट गया है
सरेया और सातवा पंचायत को जोड़ने वाला पुल गिरा
सारण जिले के बनियापुर प्रखंड में गुरुवार सुबह एक और पुल टूट गया। यह पुल सरेया पंचायत को सातवा पंचायत से जोड़ता था। इससे पहले बुधवार को भी लहलहादपुर प्रखंड में दो पुल टूट गए थे।
ब्यूरो हेड मणिभूषण की रिपोर्ट