Jharkhand ED: केंद्र ने प्रवर्तन निदेशालय (ED) के एक अधिकारी को सशस्त्र सुरक्षा कवर प्रदान किया है जो Jharkhand में तैनात हैं और कुछ बहुचर्चित मनी लाउंड्रिंग मामलों की जांच कर रहे हैं। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों की संभावित खतरे वाले लोगों के बारे में तैयार रिपोर्ट में ईडी के सहायक निदेशक देवव्रत झा को बाहुबलियों और माफियाओं से खतरे की आशंका का जिक्र किए जाने के बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय ने उन्हें ‘एक्स’ श्रेणी की सशस्त्र सुरक्षा प्रदान की है।
देवव्रत झा कई मामलों की कर रहे हैं छानबीन
देवव्रत झा रांची में ईडी के क्षेत्रीय कार्यालय में तैनात हैं और झारखंड में कई धनशोधन मामलों के जांच अधिकारी हैं। इनमें कथित भूमि घोटाला, शराब घोटाला और मनरेगा (महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम) एवं अन्य योजनाओं में कथित अनियमितताओं से संबंधित भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अधिकारियों और वरिष्ठ नौकरशाहों के खिलाफ दर्ज मामले शामिल हैं।
सीआईएसएफ की वीआईपी सुरक्षा शाखा को मिली जिम्मेदारी
सूत्रों ने बताया कि केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) की वीआईपी सुरक्षा शाखा को झा को 24 घंटे सुरक्षा प्रदान करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। सुरक्षा प्रदान करने का फैसला ऐसे वक्त आया है जब एजेंसी ने तीन नवंबर को रांची की बिरसा मुंडा जेल में तलाशी ली, जिसके बाद उसे सूचना मिली कि एजेंसी जिन धनशोधन मामलों की जांच कर रही है उनके कुछ आरोपियों और स्थानीय बाहुबलियों की ओर से गवाहों को प्रभावित करने, ईडी अधिकारियों को निशाना बनाने और विभिन्न मामलों में सबूत नष्ट करने की ‘‘साजिश’’ रची जा रही है।
निगरानी के लिए दौरा करने पर मिलेगी सशस्त्र सुरक्षा
इन मामलों में ईडी की ओर से गिरफ्तार कई आरोपी बिरसा मुंडा जेल में बंद हैं। अधिकारियों ने कहा कि केंद्रीय सुरक्षा बलों को भी निर्देश दिया गया है कि जब भी एजेंसी के वरिष्ठ अधिकारी इन मामलों की निगरानी के लिए राज्य का दौरा करें तो उन्हें सशस्त्र सुरक्षा प्रदान की जाए।
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