Ranchi: झारखंड विधानसभा के शीतकालीन सत्र के तीसरे दिन सदन की कार्यवाही शुरू होते ही एमबीबीएस नामांकन में कथित अनियमितताओं का मामला जोर-शोर से उठा। नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने मेडिकल काउंसलिंग प्रक्रिया में गंभीर गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए इसकी CBI जांच कराने और झारखंड संयुक्त प्रवेश प्रतियोगी परीक्षा बोर्ड (JCECEB) के शीर्ष अधिकारियों को तत्काल हटाने की मांग की।
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि राज्य में एमबीबीएस नामांकन के दौरान लगातार अनियमितताएं सामने आ रही हैं और मेडिकल काउंसलिंग में गाइडलाइन का पालन नहीं किया जा रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि JCECEB, मेडिकल काउंसलिंग कमेटी की गाइडलाइन का खुला उल्लंघन कर रहा है।
उन्होंने सदन में बताया कि NTA द्वारा परीक्षा परिणाम जारी कर दिए जाने के बावजूद बोर्ड का पोर्टल NTA से लिंक नहीं रहता, जिसके कारण काउंसलिंग के दौरान गंभीर तकनीकी खामियां सामने आती हैं। इसी वजह से कई छात्र गलत जाति प्रमाण पत्र, आवासीय प्रमाण पत्र समेत अन्य फर्जी दस्तावेज जमा कर देते हैं, जिससे योग्य अभ्यर्थी प्रभावित हो रहे हैं।
बाबूलाल मरांडी ने आरोप लगाया कि यह सब जानबूझकर किया जा रहा है ताकि कुछ खास लोगों को फायदा पहुंचाया जा सके। उन्होंने कहा कि इस लापरवाही और साजिश के कारण दर्जनों मेधावी छात्रों का भविष्य खतरे में पड़ गया है।
नेता प्रतिपक्ष ने सरकार से तीन प्रमुख मांगें रखीं—
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एमबीबीएस काउंसलिंग की CBI जांच कराई जाए,
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JCECEB के शीर्ष अधिकारियों को तत्काल हटाया जाए,
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मौजूदा काउंसलिंग प्रक्रिया को रद्द कर नए सिरे से पारदर्शी तरीके से काउंसलिंग कराई जाए।
उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार ने उनकी मांगों पर तुरंत कार्रवाई नहीं की तो सदन की कार्यवाही बाधित की जाएगी।
इस मुद्दे के उठने के बाद सदन का माहौल गरम हो गया और सत्ता पक्ष व विपक्ष के बीच तीखी नोकझोंक देखने को मिली।