कोडरमा के ग्रामीणों ने बिहार पुलिस और वन विभाग के रेंजर पर निर्दोष लोगों की मारपीट का लगाया आरोप, आक्रोशित ग्रामीणों ने जमकर काटा बवाल

कोडरमा के डोमचांच में आज नीरू पहाड़ी के पास बिहार पुलिस और रजौली वन विभाग के रेंजर के खिलाफ लोगों ने कोडरमा-गिरिडीह मुख्य मार्ग पर जमकर प्रदर्शन किया जिसके कारण तकरीबन 4 घंटे तक कोडरमा-गिरिडीह मार्ग पर जाम की स्थिति बनी रही। ग्रामीणों का आरोप है कि अहले सुबह बिहार की रजौली पुलिस और वन विभाग की टीम बगैर स्थानीय थाना और पुलिस को सूचना दिए गांव में घुसी और नीरू पहाड़ी के पास खड़े कुछ निर्दोष लोगों की पिटाई करनी शुरू कर दी । इस दौरान कई लोगों को बिहार पुलिस के द्वारा पकड़कर अपने साथ ले जाने का आरोप भी ग्रामीणों ने लगाया। बिहार पुलिस की बर्बरता के खिलाफ लोग सड़क पर घंटो जमें रहे और कार्रवाई की मांग को लेकर हंगामा मचाते रहे। बहरहाल इसकी सूचना मिलने के बाद कोडरमा एसडीपीओ अनिल कुमार की अगुवाई में पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और आक्रोशित ग्रामीणों को समझाया बुझाया। स्थानीय लोगों के मुताबिक बिहार की रजौली पुलिस और वन विभाग की टीम को जब गांव में कुछ नहीं मिला तो गांव से बाहर आकर डोमचांच थानाक्षेत्र के नीरू पहाड़ी के पास खड़े निर्देश लोगों को पीटने लगी और कुछ लोग को उठाकर अपने साथ लेते भी गई। आदिवासी नेता कृष्णा सिंह घटवार ने बताया कि यह कोई पहला मौका नहीं है इससे पहले भी बिहार पुलिस की इस तरह की बर्बरता सामने आई थी और मामले में मानवाधिकार से बिहार पुलिस को फटकार भी लगी थी। इधर इस मामले को लेकर एसडीपीओ के आश्वासन के बाद ग्रामीणों ने सड़क जाम हटा लिया है। एसडीपीओ अनिल कुमार ने बताया कि इस मामले में जो भी लोग दोषी होंगे उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने बताया कि बिहार पुलिस के गांव में घुसने की किसी तरह की सूचना कोडरमा पुलिस को नहीं मिली थी।

कोडरमा से भोलाशंकर सिंह