Bihar News: नालंदा जिले में स्वास्थ्य महकमा हमेशा अपने कारनामों को लेकर चर्चा में रहा है. ताजा मामला सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र रहूई का है, जहां पिछले 31 जुलाई को इमामगंज गांव के रहने वाले सुजीत कुमार का हर्निया की जगह डॉक्टर ने नसबंदी कर दिया. सुजीत कुमार की पत्नी अर्पणा कुमारी ने बताया कि इमामगंज की ही रहने वाली आशाकर्मी के द्वारा सुजीत कुमार को ऑपरेशन के लिए 30 जुलाई को जांच करवाया था. एक दिन बाद यानी 31 जुलाई को सुजीत कुमार को समुदायिक स्वास्थ्य केंद्र रहुई में भर्ती कराया गया. जहां डॉक्टरों ने सुजीत कुमार की नसबंदी कर दी.
पत्नी अर्पण ने बताया कि जब 2 साल पूर्व इसी आशाकर्मी के द्वारा इसी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में नसबंदी कराया गया था फिर उसके पति सुजीत कुमार का नसबंदी करने का क्या औचित्य बनता है. पत्नी ने आशाकर्मी और चिकित्सक पर लापरवाही का आरोप लगाया है. वहीं इस संबंध में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र रहुई के चिकित्सा प्रभारी डॉक्टर चंद्रशेखर प्रसाद चौधरी ने बताया कि मरीज की मर्जी से ही नसबंदी कराया गया है. स्वास्थ्य केंद्र में कभी भी हर्निया का ऑपरेशन नहीं होता है. पत्नी के नसबंदी के सवाल पर उन्होंने कहा कि अगर उसके पति का नसबंदी इसी स्वास्थ्य केंद्र में हुआ है तो कहीं ना कहीं आशाकर्मी की भूमिका संदिग्ध नजर आती है. जांच के बाद ही मामला स्पष्ट हो पाएगा.
नालंदा से ऋषिकेश की रिपोर्ट
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