राहुल गांधी एक बार फिर विवादों में फंसते नजर आ रहे हैं. मामला रेलवे के लोको पायलटों की समस्या से जुड़ा है (Rahul Gandhi Loco Pilots Railway). खबर आई कि लोको पायलटों ने राहुल गांधी से शिकायत की कि उन्हें बिना आराम दिए खूब काम करवाया जा रहा है. कहा गया कि राहुल अब ये मुद्दा सरकार के सामने उठाएंगे. लेकिन अब आरोप लग रहे हैं कि राहुल गांधी ने जिन लोगों से बात की वो लोको पायलट नहीं थे. BJP ने दावा किया वो प्रोफेशनल एक्टर्स थे. इसके अलावा राहुल के साथ गए ‘आठ’ कैमरामैन को लेकर भी सवाल उठ रहे हैं.
लोको पायलट से राहुल ने की थी मुलाकात
शुक्रवार को हाथरस भगदड़ में पीड़ित परिवारों से मिलने के बाद राहुल नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर लोको पायलटों से मिलने पहुंचे थे। कांग्रेस ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा विपक्ष के नेता राहुल गांधी रेलवे की रीढ़ लोको पायलट से मिले हैं। उनके जीवन को सरल और सुरक्षित बनाना रेलवे सुरक्षा की दिशा में एक मजबूत कदम होगा।
मुलाकात पर छिड़ा विवाद
राहुल गांधी की लोको पायलट से मुलाकात के बाद अब उत्तर रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी (सीपीआरओ) दीपक कुमार का बयान आया है। उन्होंने कहा कि रेलवे स्टेशन पर विपक्ष के नेता ने जिन क्रू सदस्यों के साथ चर्चा की, वे उनकी लॉबी से नहीं थे, बल्कि बाहर से हो सकते हैं।
सीपीआरओ दीपक कुमार ने एएनआई से बात करते हुए कहा राहुल जब आए उनके साथ 7-8 कैमरामैन थे, उन्होंने हमारी क्रू लॉबी का दौरा किया और जांच की कि हम अपनी क्रू लॉबी को कैसे बुक करते हैं। क्रू लॉबी से बाहर आने के बाद उन्होंने कुछ लोगों से चर्चा की। वहां करीब 7-8 क्रू सदस्य थे जो हमारी लॉबी से नहीं थे, लेकिन ऐसा लगता है कि वे बाहर से थे।
रेलवे के बयान के बाद भाजपा ने राहुल पर हमला बोला है। भाजपा नेता अमित मालवीय ने कहा कि लोको पायलटों से मिलने गए राहुल के साथ आठ कैमरामैन और एक निर्देशक भी थे। इससे भी ज्यादा अजीब बात यह है कि वे वास्तविक लोको पायलटों से नहीं मिले। पूरी संभावना है कि वे पेशेवर अभिनेता थे, जिन्हें उनकी टीम ने बुलाया था।
कांग्रेस ने क्या कहा?
द हिंदू की रिपोर्ट के मुताबिक, कांग्रेस सूत्रों ने दावा किया कि 5 जुलाई को राहुल गांधी ने नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर 50 लोको पायलटों से मुलाकात की. कहा गया कि मुलाकात के दौरान लोको पायलटों ने शिकायत की कि कर्मचारियों की कमी की वजह से वो पर्याप्त आराम नहीं कर पा रहे हैं. कांग्रेस सूत्र ने कहा,
लोको पायलट घर से दूर, लंबी दूरी तक ट्रेन चलाते हैं और अक्सर उन्हें पर्याप्त ब्रेक के बिना ड्यूटी पर लगाया जाता है. इससे बहुत तनाव होता है और एकाग्रता में कमी आती है जो दुर्घटनाओं का एक प्रमुख कारण है.